Receiving and Storage of Goods (माल की प्राप्ति और भंडारण)
Introduction (परिचय):-
उत्पाद वर्गीकरण
(Product classification) उपभोक्ताओं के खरीद व्यवहार
(consumers’ buying behaviour) पर ध्यान केंद्रित करने में रिटेलर की सहायता करता है। वस्तुओं की बिक्री बढ़ाने के लिए रिटेल बिज़नेस उपभोक्ताओं
(consumers) के खरीद व्यवहार
(buying behavior) का प्रयोग मार्केटिंग रणनीतियों
(marketing strategies) को डिज़ाइन करने में या बनाने में करता है।
रिटेल उधोग में स्टोर संचालन सहायक
(store operations assistant) स्टोर में वस्तुओं की प्रक्रिया के बारे में जानकारी रखता है। आमतौर पर वस्तुओं की प्राप्ति
(receiving) और डिलीवरी
(delivery) की प्रक्रियाओं
(procedures) और नीतियों
(policies) पर प्रकाश डालने के लिए एक मैन्युअल तैयार किया जाता है। आमतौर पर ये प्रक्रियाएं और नीतियां सभी स्टोरों के लिए कॉमन होती है।
स्टोर संचालन सहायक के द्वारा वस्तुओं को प्राप्त करने
(receiving) और वितरित करने
(delivering) के लिए स्टोर के द्वारा बनाई गई पालिसी की जाँच करनी चाहिए। सभी प्रकार के व्यवसाय, विशेष रूप से रिटेल स्टोर के द्वारा वस्तुओं का भंडारण सुरक्षित रूप से किया जाना चाहिए और यह भी सुनिश्चित करे की इस कार्य के दौरान स्वास्थ्य और सुरक्षा
(health and safety) से संबंधित क़ानूनी कर्तव्य
(legal duty) का पालन पूरी तरह से किया गया है। भंडारण करने के लिए सही दृष्टिकोण
(right approach) प्रदूषण (pollution,), अनावश्यक अपव्यय
(unnecessary wastage) और अन्य लागत
(other costs) को कम करने में फर्म मालिकों (firm
owners) की सहायता करता है।
Session 1:
Classification of Goods (सामान/गुड्स/वस्तुओं का वर्गीकरण)
सामान/वस्तुओं का अर्थ (Meaning of goods) क्या है?
सामान अथवा वस्तुएं उपयोगिताओं का बंडल हैं
(Goods are bundle of utilities), जो स्वाभाविक
(inherently) रूप से उपयोगी
(useful) और मूर्त
(tangible) रूप में होती हैं जैसे - लेख
(article), वस्तु (commodity), माल
(merchandise), सामग्री (material), आपूर्ति
(supply), कृषि (agricultural) से उत्पादित वस्तुएं, विनिर्माण
(manufacturing), निर्माण (construction) या खनन
(mining ) गतिविधियों से प्राप्त वस्तुएं इत्यादि। अर्थशास्त्र की भाषा में इसे कमोडिटी
(commodity) कहा जाता है।
दूसरे शब्दों में, वस्तु एक मूर्त पदार्थ या उत्पाद है जिसको उपयोगकर्ता के द्वारा अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए मुद्रा अथवा सेवाओं के बदले में प्राप्त किया जा सकता है।
यहां दो प्रकार की वस्तुएं होती है जैसे - (1)
Economical goods - जो वस्तुएं पैसों से खरीदी जाती है उन्हें
Economical goods कहते है। (2)
Free goods - जो वस्तुएं मुफ्त में उपलब्ध होती है उन्हें free
goods कहा जाता है।
वस्तुएं (goods) कितने प्रकार (types) की होती है?
वस्तुएं दो प्रकार की होती है:-
(1)
Consumer goods (उपभोक्ता वस्तुएं)
(2)
Industrial Goods (औधोगिक वस्तुएं)
(1) Consumer goods (उपभोक्ता वस्तुएं):-
जो वस्तुएं उपभोक्ताओं द्वारा उपभोग के लिए तैयार है उन्हें उपभोक्ता वस्तुएं कहा जाता है। कपड़े
(clothes), खाद्य पदार्थ (food
item) आदी।
उपभोक्ता वस्तुओं (Consumer Goods) को आगे निम्नलिखित भागों में बांटा गया है:-
(A)
सुविधा वस्तुएं (Convenience goods):- जो वस्तुएं उपभोक्ताओं के लिए आसानी से उपलब्ध होती है और उन्हें खरीदने के लिए उपभोक्ताओं को कोई अतिरिक्त प्रयास भी नहीं करना पड़ता, ऐसी वस्तुएं सुविधा वस्तुएं कहलाती है। उदाहरण के लिए जैसे -
Fast Moving Consumer Goods (FMCG) अर्थात जिन वस्तुओं को जल्दी और कम कीमत पर बेचा जाता है जैसे milk,
food, confectioneries (मिष्टान्न भंडार) इत्यादि ।
सुविधा वस्तुएं (Convenience goods) भी
दो
प्रकार की होती है:-
(i). स्टेपल गुड्स (Staple goods) - जो वस्तुए ग्राहकों की आधारभूत आवश्यकताओं को पूरा करती है उन्हें स्टेपल गुड्स कहा जाता है। उदाहरण के लिए जैसे - ब्रेड
(bread ), बटर (butter), दूध (milk), (चीनी)
sugar आदि।
(ii). इम्पल्स गुड्स (Impulse Goods) - जिन वस्तुओं को बिना
(without) पूर्व योजना
(pre-plan) के खरीदा जाए उन्हें इम्प्लस गुड्स कहा जाता है। उदाहरण के लिए जैसे - चॉकलेट्स
(chocolates), सॉफ्ट ड्रिंक्स (soft
drinks), पापड़ (wafers) इत्यादि।
(B)
शॉपिंग गुड्स (Shopping Goods) - इस प्रकार की वस्तुओं को उपभोक्ताओं के द्वारा सुविधा वस्तुओं
(Convenience goods) की तरह जल्दी-2 खरीदा और उपभोग
(consume) नहीं किया जाता। ये वस्तुएं महंगी और अर्ध-टिकाऊ
(semi-durable) प्रकृति (nature) की होती है जिनको खरीदने से पहले उपभोगता
(consumer) उनकी कीमत (price), गुणवत्ता
(quality), स्टाइल (style), ब्रांड
(brand) आदि की तुलना करता है। उदाहरण के लिए जैसे - कपड़े
(clothes), फुटवियर (footwear), टेलीविज़न
(televisions), रेडियो (radio), घर सजाने का सामान (home
furnishings), जेवेलरी (jewelry) आदि।
(C)
स्पेशिलिटी गुड्स/विशेष वस्तुएं (Specialty Goods) - ऐसी वस्तुएं जो अद्वितीय
(unique), असाधारण (unusual), विशेष
(special) और आरामदायक
(comfortable) होती है उन्हें स्पेशिलिटी गुड्स/विशेष वस्तुएं कहा जाता है। उदाहरण के लिए - प्राचीन वस्तुएं
(antique goods), उच्च लक्जरी कार (हाई
luxury car), शादी के कपड़े
(wedding dresses) आदि।
(D)
बिन
चाही वस्तुएं (Unsought goods) - ऐसी वस्तुएं जो बाजार में उपलब्ध होती है लेकिन ग्राहकों को उनके बारे में जानकारी नहीं होती और जब तक जरूरत न हो ग्राहक उन्हें खरीदने के बारे में सोचते भी नहीं। जैसे - बीमा
(insurance).
इनके अलावा खुदरा वस्तुओं (retail goods) को निम्नलिखित 3 भागों में बांटा जा सकता है:-
(a).
टिकाऊ उपभोक्ता वस्तुएँ (Durable Consumer goods) - जिन वस्तुओं को ग्राहकों के द्वारा बार-2
(frequently) नहीं खरीदा जाता और लम्बे समय तक चलती है उन्हें टिकाऊ वस्तुएँ
(Durable goods) कहा जाता है। उदाहरण के लिए - फर्नीचर, टीवी, कार, फ्रीज आदि।
(b).
अर्ध-टिकाऊ उपभोक्ता वस्तुएं (Semi-Durable Consumer Goods: - जो वस्तुएं ज्यादा समय तक नहीं चलती अर्थात जो न तो जल्दी खराब होती है और न ही स्थाई होती है उन्हें अर्ध-टिकाऊ उपभोक्ता वस्तुएं
(Semi-Durable Consumer Goods):कहा जाता है। उदाहरण के लिए - कपड़े
(clothes), फर्नीचर (furniture), फुटवियर
(footwear), आभूषण (jewellery) घर का सामान (home
furnishings) आदि।
(c).
गैर-टिकाऊ
उपभोक्ता वस्तुएं (Non-Durable Consumer Goods) - ये वे वस्तुएं होती है जिनका उपभोग (consumption)
तुरंत किया जाता है क्योकि इनकी प्रकृति
(nature) जल्दी खराब होने
(perishable) की होती है। ऐसी वस्तुओं को गैर-टिकाऊ उपभोक्ता वस्तुएं कहा जाता है। उदाहरण के लिए - सब्जियां
(vegetables), फल (fruits), दूध (milk), ब्रेड
(bread) आदि।
(2) Industrial Goods (औधोगिक वस्तुएं) - जिन वस्तुओं को रिटेल संगठन
(retail organisation) के द्वारा आगे के उत्पादन
(further production) के लिए या व्यवसाय में उपयोग के लिए ख़रीदा जाता है ऐसी वस्तुए औधोगिक वस्तुएं कहलाती है। औधोगिक वस्तुएं अंतिम उपभोग के लिए नहीं होती लेकिन इनका उपयोग औधोगों या फर्मों के द्वारा अंतिम वस्तुएं
(final goods) बनाने में किया जाता है। उदाहरण के लिए - गन्ना, कपास, कोयला आदि।
औधोगिक वस्तुओं को तीन भागों में बांटा जा सकता है:-
(A).
मैटेरियल्स एंड पार्ट्स (Materials and parts) - यह औधोगिक उत्पादन
(industrial production) की मूल इकाई
(basic unit) है जिसका उपयोग तैयार माल
(finished goods) के उत्पादन
(producing) में किया जाता है। उदाहरण के लिए - यदि दरवाजा बनाने में स्टील, लकड़ी और लोहे का प्रयोग किया जाना है तो स्टील , लकड़ी और लोहा दरवाजे के मैटेरियल्स एंड पार्ट्स होंगे।
(B).
पूंजीगत वस्तुएं (Capital goods) - पूंजीगत वस्तुएं संगठन
(organisation)को सुचारु रूप से कार्य करने में सहायता करती है। उदाहरण के लिए - ऑफिस का सामान
(office accessories) जैसे - फर्नीचर ।
(C).
आपूर्ति (Supplies) - आपूर्ति दिन-प्रतिदिन के संचालन कार्यो को पूरा करती है लेकिन तैयार उत्पाद का हिस्सा नहीं बनती। उदाहरण के लिए - बिजली, कोयला आदि।
(D).
औधोगिक सेवाएं (Industrial services) - व्यवसाय को सुचारू रूप से चलाने में औधोगिक सेवाओं का प्रयोग किया जाता है। औधोगिक सेवाएं आंतरिक
(internally) और बाह्य
(externally) रूप से उपलब्ध हो सकती है। उदाहरण के लिए जैसे कि मेंटेनेंस सर्विसिस, रिपेयर सर्विसिस, मशीनरी रिपेयर और व्यापार सलाहकार सेवाएं
(business advisory services) आदि।
मूर्त वस्तुएं (tangible goods) किसे कहते है?
वे वस्तुएं जिनको आसानी देखा, छुआ और महशुस किया जा सके उन्हें मूर्त वस्तुएं कहा जाता है जैसे - भवन, कुर्सी, फ्रीज़ इत्यादि।
अमूर्त वस्तुएं (intangible goods) किसे कहते है?
वे वस्तुएं जिनको आसानी देखा, छुआ और महशुस नहीं किया जा सके उन्हें अमूर्त वस्तुएं कहा जाता है जैसे- सॉफ्टवेयर, सेवाएं, एजुकेशन आदि।
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A.
Fill in the Blanks
1. Goods are bundle of
utilities, which are inherently useful and relatively scarce tangible item. (वस्तुएं उपयोगिताओं के बंडल हैं, जो स्वाभाविक रूप से उपयोगी और अपेक्षाकृत दुर्लभ मूर्त आइटम हैं।)
2. Goods that are scarce are
called economic
goods. (जो सामान दुर्लभ होते हैं, उन्हें आर्थिक वस्तु कहा जाता है।)
3. There are two types of
goods, Consumer and Industrial. ( दो प्रकार की वस्तुएं हैं, उपभोक्ता और औधोगिक)
4. Convenience goods can be
classified into Staple Goods and Impulse Goods. (सुविधा वस्तुओं को स्टेपल गुड्स और इम्पल्स गुड्स में वर्गीकृत किया जा सकता है।)
5. Retail organisation buys
goods for further production or use in business. (खुदरा संगठन व्यापार में आगे उत्पादन या उपयोग के लिए सामान खरीदता है।)
6. Goods which are unique and
special are called as specialty consumer
goods. (जो वस्तुएं अद्वितीय और विशेष होते हैं उन्हें विशेष उपभोक्ता वस्तुएं कहा जाता है।)
B. Multiple Choice Questions
1.
Goods means tangible item, such as (वस्तुओं का अर्थ है मूर्त वस्तु, जैसे कि)
a) Article b) Commodity
c) Material d) All (a), (b) and (c)
2.
Consumer goods refer to those which are meant for ultimate consumption of-----
(उपभोक्ता वस्तुएं उनका उल्लेख करती है जो ----------अंतिम उपभोग के लिए हैं।)
a) Wholesaler (थोक विक्रेता)
b) Consumer (उपभोक्ता)
c) Manufacturer (निर्माता)
d) None of the above (उपरोक्त में से कोई नहीं)
3.
Industrial goods includes (औधोगिक वस्तुओं में शामिल हैं)
a) Material and parts (मटेरियल एंड पार्ट्स)
b) Capital items (पूंजीगत आइटम)
c) Supplies (आपूर्ति)
d) All (a), (b) and (c) (सभी a), (b) और (c)
4.
Industrial services include (औधोगिक सेवाओं में शामिल हैं)
a) Maintenance services (रखरखाव सेवाएं)
b) Repair services (मरम्मत सेवाएँ)
c) Machinery repair and
business advisory services (मशीनरी मरम्मत और व्यापार सलाहकार सेवाएं)
D.
Match the Columns (सही कॉलम मिलाएं)
|
Column A |
|
Column B |
1. |
Goods (माल) |
A |
Intangible (अमूर्त) |
2. |
Supply (आपूर्ति) |
B |
Ultimate Consumption
(अंतिम उपभोग) |
3. |
Consumer Goods (उपभोक्ता वस्तुएं) |
C |
Converted into
finished goods (तैयार माल में परिवर्तित) |
4. |
Industrial Goods (औधोगिक वस्तुएं) |
D |
Demand (मांग) |
5. |
Service (सेवाएं) |
E |
Tangible items (मूर्त वस्तुएँ) |
Answer:- 1=E, 2=D, 3=B, 4=C, 5=A
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